singhada subsidy सिंघाड़े की करें खेती,प्रदेश सरकार दे रही बम्पर सब्सिडी
मध्य प्रदेश सरकार किसानों के लिए कई लाभप्रद योजनाएं संचालित कर रही हैं जिसमें सिंघाड़े की फसल के लिए 21,250 रुपए की singhada subsidy सब्सिडी भी दी जा रही है.
दरअसल मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार की और से प्रदेश के किसानों के लिए सिंघाड़ा की खेती के क्रियान्वयन के लिए नई योजना लॉन्च की है जिसमें किसानों को singhada subsidy सब्सिडी भी दी जा रही है.
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गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में किसानों और मछुआरों के परिजनों द्वारा तालाबों में सिंघाड़ा की खेती की जाती है जिससे किसानों को बम्पर आवक होती है.जिसके लिए प्रदेश सरकार किसानों को singhada subsidy सब्सिडी दे रही है
singhada subsidy कितनी आती है लागत
प्रदेश के उद्यानिकी विभाग की और से जारी लागत के अनुसार सिंघाड़े की खेती में प्रति हेक्टेयर 85 हजार रुपये की लागत आती है.दीपावली के सीज़न में माता लक्ष्मी की पूजन ने इस्तेमाल के समय सिघाड़े की मांग पुरे भारत भर में देखी जाती है ऐसे में प्रदेश के किसानो के लिए यह योजना singhada subsidy काफी लाभदायक सिद्ध होगी.
singhada subsidyकितनी मिलेगी सब्सिडी
प्रदेश सरकार की और से जारी निर्देश के अनुसार किसानों को पूरी लागत के अनुसार की 21, 250 रुपये प्रति हेक्टेयर के दर से अनुदान singhada subsidy दिया जा रहा है.जिसका किसान भाई लाभ उठा सकते हैं.
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singhada subsidy क्यों दे रही सरकार सब्सिडी
दरअसल हाल के कुछ सालों में मध्यपद्रेश के किसानों के बीच बागवानी की फसलों की खेती का चलन बढ़ा है. ये फसलें कम लागत में बंपर मुनाफा कमाने का मौका दे रही हैं. केंद्र और मध्यप्रदेश सरकार द्वारा इन फसलों की खेती करने पर सब्सिडी दी जा रही हैं. इसी कड़ी में सिंघाड़ा की खेती करने वाले किसानों को मध्य प्रदेश सरकार 25 प्रतिशत तक की singhada subsidy सब्सिडी देने का काम कर रही है.
प्रति हेक्टेयर कितनी मिलती है singhada subsidy
मध्य प्रदेश सरकार के मुताबिक सिंघाड़े की खेती में प्रति हेक्टेयर 85 हजार रुपये की लागत आती है. सरकार द्वारा जारी निर्देश के मुताबिक किसानों को पूरी लागत की 25 प्रतिशत तक की singhada subsidy सब्सिडी यानी अधिकतम 21, 250 रुपये प्रति हेक्टेयर के दर से अनुदान दिया जाता है.
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किसानों के लिए आवश्यक दिशा निर्देश
1. कृषक को आधार नंबर सहित विभागीय पोर्टल MPFSTS पर आवेदन करना अनिवार्य होगा।
2. योजनांतर्गत सभी वर्ग के अधिक से अधिक परिवारों को लाभान्वित किया जावे।
3. सिंघाडा की खेती अंतर्गत सिकमी ( भूमिहीन कृषक) के पंजीकरण हेतु सिकमी कृषक का नाम अंकित किया जावेगा एवं भूमि स्वामी की भूमि संबंधी जानकारी भरी जावेगी ।
4. कृषकों का समूह में पंजीयन मान्य नहीं होगा।
5. सिकमी कृषकों को योजना का लाभ दिये जाने के पूर्व, कृषकों द्वारा भूमि स्वामी से किया गया अनुबंध पत्र/शपथ पत्र की प्रति प्राप्त की जावे।
6. चयनित कृषकों से योजना अनुसार समस्त प्रक्रियाओं को पूर्ण करने के पश्चात् आशय पत्र जारी किया जाए।
7. कृषक को 1.00 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंघाडा की खेती हेतु इकाई लागत राशि रूपये 85,000/ का 25 प्रतिशत अधिकतम राशि रूपये 21,250/- अनुदान देय होगा।
8. अनुदान का लाभ न्यूनतम 0.125 हेक्टेयर एवं अधिकतम 1.00 हेक्टेयर तक दिया जाएगा।
9. योजनांतर्गत फील्ड तैयारी, पौध सामग्री, खाद व उर्वरक पौध संरक्षण औषधी, फसल कटाई एवं बाजार व्यवस्था इत्यादि किसान अपनी स्वेच्छा अनुसार स्वयं करने हेतु स्वतंत्र होगा।
10. अनुदान प्राप्त करने हेतु क्रय की गई सामग्री के बिल जिला कार्यालय में प्रस्तुत करने होंगे।
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11. संभागीय उद्यानिकी अधिकारी अपने अधीनस्थ जिलों में समय समय पर योजना की समीक्षा/भ्रमण कर योजना के क्रियान्वयन को गति प्रदान करेंगे।
12. कृषक द्वारा सिंघाडा की फसल लगाने के पश्चात विभागीय अधिकारियों की 03 सदस्यीय समिति द्वारा भौतिक सत्यापन किया जावेगा। समिति अध्यक्ष उप/सहायक संचालक उद्यान, संबंधित विकासखण्ड के वरिष्ठ उद्यान विकास अधिकारी एवं ग्रामीण उद्यान विस्तार अधिकारी सदस्य होंगे। उक्त समिति के अनुसंशा के आधार पर फसल की जियो टैगिंग के पश्चात संबंधित हितग्राही के बैंक खाता में डी.बी. टी. (Direct Benefit Transfer) के माध्यम से अनुदान राशि का भुगतान किया जाएगा। सिंघाडा फसल की जियो-टैगिंग में हितग्राही की उपस्थिति अनिवार्य होगी।
13. कार्यादेश/आशय पत्र जारी करने के अधिकतम 03 माह के अंदर (फसल की स्थिति के अनुसार) क्षेत्रीय ग्रा.उ.वि.अधि. / वरि.उ.वि.अधि. क्षेत्र का भ्रमण कर फसल की स्थिति के संबंध में परामर्शीय सेवा प्रदान करेंगे।
14. जिला अधिकारी इस योजना के हितग्राहियों को लाभ पाने की स्थिति की समीक्षा मैदानी अमले के साथ पाक्षिक आधार पर करेंगे तथा जिला अधिकारी रेन्डम आधार पर क्षेत्र में भ्रमण के दौरान हितग्राहियों से संपर्क कर योजना क्रियान्वयन की मैदानी स्थिति का आंकलन करेंगे एवं आवश्यकतानुसार सुधारात्मक कदम उठायेंगे।
15. योजनांतर्गत 1.00 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंघाडा की खेती हेतु आदान सामग्री का विवरण
Water Cfrestnut Cost Of Cultivarion
Field Operation | 6000 |
Planting Material | 60000 |
Manure & Ferlilizer | 5000 |
Plant Protection | 5000 |
Harvesting | 6000 |
Marketing | 3000 |
total | 85000 |
विभागीय अधिकारियों द्वारा निम्नानुसार प्रतिशत में भौतिक सत्यापन एवं मूल्यांकन किया जाएगा।
ग्रा.उ.वि.अधिकारी/ वरि.उ.वि.अधिकारी 100 प्रतिशत
जिले के उप/सहायक संचालक उद्यान 25 प्रतिशत
संभागीय संयुक्त संचालक उद्यान 05 प्रतिशत
आवश्यक लिंक
किसान भाई इस लिंक पर जाकर सम्पूर्ण जानकारी हासिल कर सकते हैं.
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